गीतकार संतोष आनंद ने साझा किया लता जी का एक किस्सा, रिकार्डिंग के वक्त खा रही थीं यह चीज…

लता मंगेशकर की बात करें तो सिंगर कोरोना से संक्रमित होने के बाद मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में एडमिट किया गया था। करीब एक महीने अस्पताल में उनका इलाज चला। पिछले कुछ दिनों से वे बेहतर महसूस कर रही थीं। मगर 5 फरवरी को एक बार फिर से लता की तबीयत बिगड़ी और 6 फरवरी को लता मंगेशकर ने दुनिया को अलविदा कह दिया। भारत रत्न से नवाजी गईं लता मंगेशकर के निधन पर देशभर में 2 दिनों का राष्ट्रीय शोक रखा गया है और राजकीय सम्मान के साथ शिवाजी पार्क में उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा।

संतोष आनंद के लिखे जितने गीत लता जी ने गए सब सुपर हिट रहे। शोर फिल्म के गाना ‘एक प्यार का नगमा है’ इसमें शामिल है। इसके अलावा, जिंदगी की ना टूटे लड़ी, मैं ना भूलूंगा, ये गलियां ये चौबारा, पुर्वा सुहानी आई रे जैसे गाने शामिल हैं। संतोष और लता की जोड़ी को फैंस ने बेशुमार प्यार दिया। अब लता मंगेशकर के जाने के बाद संतोष आनंद को उनकी बहुत याद आ रही है।

संतोष आनंद ने लता जी के साथ रिकार्डिंग के वक्त की बातें याद करी और बताया- ‘लता जी रिकार्डिंग के वक्त आचार खा रही थीं जो सिंगर खाते नहीं। लता जी खाने-पीने में बिल्कुल कॉम्प्रोमाइज नहीं करती थीं वे हर तरह की चीजें खाना पसंद करती थी। संतोष ने कहा कि एक साल पहले मेरे पास लता जी का फोन आया था। लता जी ने अपने पिता के नाम से चलने वाला अवार्ड भेजा था और 1 लाख रुपए। लता मंगेशकर हमेशा से अपनी दरियादिली के लिए जानी जाती थीं।

बॉलीवुड में लता मंगेशकर ने कई सारी भाषाओं में गाने गाए और कई सारे कलाकारों संग काम किया। कई सारे गीतकारों के लिखे गानों को लता मंगेशकर ने अपनी आवाज दी। गीतकार संतोष आनंद के लिखे गाने भी लता ने गाए थे। एक प्यार का नगमा है गाने को भला कौन भूल सकता है। लता दीदी के जाने के बाद संतोष आनंद भावुक हैं और उन्होंने अपना शोक व्यक्त किया है।

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *